ग्रामीण विद्युतीकरण कार्यक्रम के अंतर्गत ग्यारहवीं योजना में राजस्थान में 14 नई योजनाएं प्रारंभ की गई है। इससे पहले भी 25 योजनाओं पर काम चल रहा है। सभी 39 योजनाओं में 3787 गांवों में बिजली पहुंचाई जानी है, वहीं 33 हजार 604 गांवों में विद्युतीकरण के अधूरे काम को पूरा किया जाना है। इस काम को पूरा करने पर 1081 करोड़ 37 लाख रुपये खर्च होंगे। गांवों के अतिरिक्त इस कार्यक्रम के तहत 6518 ढाणियों में भी घरेलू बिजली पहुंचाने का काम हाथ में लिया गया है। प्रदेश के 33 हजार से अधिक गांवों में बिजली तो पहुंच चुकी है लेकिन नए मानदंडों के अनुसार इनमें दस प्रतिशत से कम घरों में ही कनेक्शन दिए जा सके है। अब वितरण निगम नए मानदंडों के अनुसार कम से कम दस प्रतिशत घरों को प्रकाश पहुंचाने के लिए आवश्यक वितरण पत्र बिछाकर कनेक्शन देने में लग गए है, जिससे ये गांव भी विद्युतीकरण की नई श्रेणी में आ जाएं। इस योजना के तहत जून, 2008 के अंत तक 1631 नए और 9 हजार 626 पुराने गांवों को विद्युतीकृत कर दिया गया है।
Friday, July 25, 2008
37 हजार से अधिक गांवों को इसी वर्ष बिजली
राज्य के 37 हजार 391 गांवों को विद्युतीकृत करने का काम इस वित्त वर्ष में पूरा कर लिया जाएगा। यह निर्णय तीनों विद्युत वितरण निगमों के नवगठित कोर्डिनेशन फोरम की बैठक में किया गया है। बैठक की अध्यक्षता वितरण निगमों के अध्यक्ष आरजी गुप्ता ने की जिसमें अजमेर के प्रबंध निदेशक पीएस जाट के अलावा सभी जोनल चीफ इंजीनियर व अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
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